राष्ट्रीय जलमार्ग 5 कहां से कहां तक है - raashtreey jalamaarg 5 kahaan se kahaan tak hai

भारत के राष्ट्रीय जलमार्ग - National Waterways of India - राष्‍ट्रीय जलमार्ग विधेयक 22 दिसम्‍बर 2015 को लोकसभा में पारित हो गया जिसके बजट सत्र में पारित होने का अनुमान है इस विधेयक में देश केे भीतर जलमार्गों की सम्‍भावनाओं को उद्देश्‍यपरक बनाया गया है तो आइये जानते हैं भारत के राष्ट्रीय जलमार्ग - National Waterways of India

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राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 1 (National Waterway - 1)

इलाहाबाद से हल्दिया के बीच गंगा-भागीरथी-हुगली नदी प्रणाली को राष्‍ट्रीय जलमार्ग -1 घोषित किया गया है इस जलमार्ग को राष्‍ट्रीय जलमार्ग अधिनियम 1982 के उपबन्‍ध-49 के तहत घोषित किया गया था यह जलमार्ग भारत का पहला और सबसे लम्‍‍‍‍बा जलमार्ग है इसकी लंंबाई 1620 किमी हैै इस जलमार्ग की शुरूआत 27 अक्‍टूबर 1985 को भारतीय अन्‍तर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण के गठन के साथ हुुुुई यह जलमार्ग उत्‍तरप्रदेश, बिहार, झारखण्‍ड, तथा पश्चिम बंगाल राज्‍यों से गुुुजरता है

राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 2 (National Waterway - 2)

ब्रह्मपुत्र नदी में घुबरी से सदिया तक मार्ग को राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 2 कहा गया है इस जलमार्ग को वर्ष 1988 मेें राष्‍ट्रीय जलमार्ग घो‍षित किया गया था इस जलमार्ग की कुल लंंबाई 891 किमी है इस राजमार्ग के महत्वपूर्ण वाणिज्यिक केन्‍द्र धुबरी, गोगीघोपा, गवाहटी, तेजपुर, निमाती, डिब्रूगढ, सदिया तथा सायखोवा है

राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 3 (National Waterway - 3)

पश्चिमी भारत में स्थित तटीय नहरों की श्रृृंखला को कोट्टापुरम से कोल्‍लम तक राष्‍ट्रीय जालमार्ग - 3 घोषित किया गया है इस जलमार्ग की शुरूआत वर्ष 1992 में हुुुुई थी इस राजमार्ग कुल लंबाई 205 किमी है

राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 4 (National Waterway - 4)

काकीनाडा पुदुचेरी नहर विस्‍तार के साथ गोदावरी नदी विस्‍तार तथा कृष्‍णा नदी विस्‍तार को सम्मिलित रूप से राष्‍ट्रीय जलमार्ग 4 कहा गया है इस जलमार्ग की लंबाई 1095 किमी है यह जलमार्ग चेन्‍नई बन्‍दरगाह को काकीनाडा तथा मच्‍छलीपट्टम के बन्‍दरगाहों को जोडता है

राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 5 (National Waterway - 5)

पूर्वी तटीय नहर प्रणाली में ब्राह्मणी तथा महानदी डेल्‍टा क्षेत्र को राष्‍ट्रीय जलमार्ग 5 कहा गया है यह जलमार्ग मंगलगडी से पारादीप बन्‍दरगाह के बीच 101 किमी जलमार्ग को भी जोडता है इस जलमार्ग की कुल लंबाई 623 किमी है इसकी शुरूआत 1985 में हुई थी इसे वर्ष 2008 में राष्‍ट्रीय जलामार्ग घोषित कर दिया गया था

राष्‍ट्रीय जलमार्ग - 6 (National Waterway - 6)

भंगा से लखीपुर जलमार्ग को राष्‍ट्रीय जलमार्ग 6 कहा गया है अभी यह जलमार्ग प्रस्‍तावित है इसकी शुरूआत अभी नहीं हुई है इस राष्‍ट्रीय जलमार्ग की कुल लंबाई 121 किमी है

भारत में नदियों, नहरों, बैकवाटर और खाड़ियों के रूप में अंतर्देशीय जलमार्गों का एक व्यापक क्षेत्र है। जिसकी कुल लंबाई करीब 14,500 किमी है, जिसमें से लगभग 5200 किमी नदी और 4000 किमी नहरों का उपयोग जहाजों द्वारा किया जा सकता है। संयुक्त राज्य अमेरिका, चीन और यूरोपीय संघ जैसे अन्य बड़े देशों और भौगोलिक क्षेत्रों में इसका उपयोग की तुलना में भारत में जलमार्ग द्वारा माल परिवहन का उपयोग बहुत कम है। भारत में कुल अंतर्देशीय यातायात का सिर्फ 0.1% अंतर्देशीय जलमार्ग द्वारा स्थानांतरित किया जाता है, संयुक्त राज्य अमेरिका के 21% की तुलना में। एक संगठित तरीके से कार्गो परिवहन केवल गोवा, पश्चिम बंगाल, असम और केरल में कुछ जलमार्गों तक ही सीमित है। भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण (आई डब्लू ए आई) भारत में जलमार्ग का प्रभारी वैधानिक प्राधिकरण है। यह भारत की संसद द्वारा आई डब्लू ए आई अधिनियम -1985 के तहत गठित किया गया था [1] इसका मुख्यालय कोलकाता में स्थित है। यह इन जलमार्गों में आवश्यक बुनियादी ढांचे के निर्माण का कार्य करता है, और नई परियोजनाओं की आर्थिक संभाव्यता और प्रशासन का भी सर्वेक्षण करता है। 31 अगस्त 2018 को, आई डब्लू ए आई ने राष्ट्रीय जलमार्ग - 1 में गंगा नदी की जटिल आकृति विज्ञान, जल विज्ञान, तीव्र मोड़, धाराएं आदि को ध्यान में रखते हुए मॉल और यात्रियों के परिवहन के लिए 13 मानकीकृत अत्याधुनिक डिजाइन सार्वजनिक किए है जिनमे सर्वप्रथम वाराणसी-हल्दिया के बीच कार्यान्वित् होगा विश्व बैंक की सहायता और निवेश के द्वारा।

भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण भारत सरकार द्वारा जहाजरानी और नौपरिवहन के लिए अंतर्देशीय जलमार्गों के विकास और विनियमन के लिए 27 अक्टूबर 1986 को बनाया गया था। यह प्राधिकरण मुख्य रूप से शिपिंग, सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय से प्राप्त अनुदान के माध्यम से राष्ट्रीय जलमार्ग पर अंतर्देशीय जलमार्ग टर्मिनल के बुनियादी ढांचे के विकास और रखरखाव के लिए परियोजनाएं बनाता है। इसका मुख्य कार्यालय नोएडा में स्थित है। इस प्राधिकरण के पटना, कोलकाता, गुवाहाटी और कोच्चि में अपने क्षेत्रीय कार्यालय और प्रयागराज, वाराणसी, भागलपुर, फरक्का और कोल्लम में उप-कार्यालय भी हैं।

वर्गीकरणटनलम्बाई (मी)चौड़ाई (मी)प्रारूप (मी)वायु ढांचा (मी)बार्ज सयोंजनवर्ग -110032514स्वयं चालित200805142 बर्जेस +1 टगवर्ग -23004581.25स्वयं चालित60011081.252 बर्जेस +1 टगवर्ग -35005891.56स्वयं चालित100014191.562 बर्जेस +1 टगवर्ग -4100070121.87स्वयं चालित2000170121.872 बर्जेस +1 टगवर्ग -5100070121.810स्वयं चालित4000170241.8102*2 बर्जेस +1 टगवर्ग -6200086142.510स्वयं चालित4000210142.5102 बर्जेस +1 टगवर्ग -7200086142.510स्वयं चालित8000210282.5102*2 बर्जेस +1 टग

2010 तक, ₹1,117 करोड़ (US$163.08 मिलियन) की राशि भारत के अंतर्देशीय जलमार्ग पर खर्च की गई थी। [2]

अमिता प्रसाद प्राधिकरण की वर्तमान अध्यक्ष हैं। [2]

सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय द्वारा संकलित नौगम्य जलमार्ग पर उपलब्ध आंकड़ों के आधार पर, 2015-16 तक राष्ट्रीय जलमार्ग के रूप में घोषित कुल 106 जल निकाय है जिनकी न्यूनतम लंबाई कम से कम 25 कि॰मी॰ (16 मील) थी। । [2] इन्हें वित्तीय सार्थकता और स्थान के साथ-साथ स्थानों के आधार पर 8 समूहों में वर्गीकृत किया गया है। पहले चरण में, श्रेणी -1 के 8 राष्ट्रीय जल (NW) जिन्हें सबसे व्यवहार्य माना जाता है, विकसित किए जाएंगे। तटीय क्षेत्रों में 60 श्रेणी II एनडब्ल्यूएस हैं, जिनमें से ज्वारीय खिंचाव और सार्थकता रिपोर्ट इनमें से 54 के लिए है (6 चरण -1 में हैं) मई 2016 से वितरित किए जाएंगे [3]

राष्ट्रीय जलमार्ग 1

राष्ट्रीय जलमार्ग 5 कहां से कहां तक है - raashtreey jalamaarg 5 kahaan se kahaan tak hai

एनडब्ल्यू -1 का विस्तार चार्ट

गंगा-भागीरथी-हुगली नदी प्रणाली का इलाहाबाद-हल्दिया खंड। स्थापित = अक्टूबर 1986 लंबाई = 1,620 किमी (1,010 मील) फिक्स्ड टर्मिनल = हल्दिया, कोलकाता, पाकुड़, फरक्का और पटना। फ्लोटिंग टर्मिनल = हल्दिया, कोलकाता, डायमंड हार्बर, कटवा, त्रिवेणी, बहरामपुर, जंगीपुर, भागलपुर, मुंगेर, सेमरिया, दोरीगंज, बलिया, गाजीपुर, चुनार, वाराणसी और प्रयागराज कार्गो शुरुआत = 4 मिलियन टन [4]


राष्ट्रीय जलमार्ग 2 सादिया - ब्रह्मपुत्र नदी की धुबरी खिंचाव स्थापित = सितंबर 1988 लंबाई = 891 किमी (554 मील) नियत पद = पांडु फ्लोटिंग टर्मिनल = धुबरी, जोगीगोपा, तेजपुर, सिलघाट, डिब्रूगढ़, जामगुरी, बोगीबिल, साखोवा और सादिया कार्गो शुरुआत = 2 मिलियन टन [2]

राष्ट्रीय जलमार्ग 3

वेस्ट कोस्ट नहर, चंपकारा नहर और उद्योगमंडल नहर के कोझिकोड-कोल्लम खंड। स्थापित = फरवरी 1993 लंबाई = 205 किमी (127 मील) नियत टर्मिनलों = अलुवा, वैकोम, कयाकमुलम, कोट्टप्पुरम, मारडु, चेरथला, थ्रिक्कुन्नपुझा, कोल्लम और अलाप्पुझा कार्गो शुरुआत = 1 मिलियन टन [2]

राष्ट्रीय जलमार्ग 4

काकीनाड़ा-पुदुचेरी नहरों का फैलाव और कालूवेली टैंक, भद्राचलम - गोदावरी नदी का राजमुंद्री खंड और वजीराबाद - कृष्णा नदी का विजयवाड़ा खंड स्थापित = नवंबर 2008 लंबाई = 1,095 किमी (680 मील)

राष्ट्रीय जलमार्ग 5

तालचेर-ब्राह्मणी नदी का धामरा खिंचाव, गोनखली - पूर्वी तट नहर का चारबतिया खंड, मताई नदी का चारबतिया-धामरा और मंगलगाड़ी - महानदी नदी डेल्टा का पारादीप खिंचाव स्थापित = नवंबर 2008 लंबाई = 623 किमी (387 मील)

राष्ट्रीय जलमार्ग 5 कहाँ स्थित है?

हल्दिया (सागर) और इलाहाबाद के बीच (1620 कि. मी.)

भारत में कुल कितने अंतरराष्ट्रीय जलमार्ग है?

वर्तमान में देशभर में 111 राष्‍ट्रीय जलमार्ग हैं। वर्ष 2016 में 106 जलमार्गों को राष्‍ट्रीय जलमार्ग घोषित करने के बाद 5 मौजूदा राष्‍ट्रीय जलमार्गों की सूची में इनको शामिल करने से ही राष्‍ट्रीय जलमार्गों की संख्‍या बढ़ गई है। क्र.

भारत का सबसे छोटा राष्ट्रीय जलमार्ग कौन सा है?

भारत में सबसे छोटा राष्ट्रीय जलमार्ग-69 है जो कि सिर्फ 5 किमी लम्बा है और यह तमिलनाडु से गुजरता है. इसके बाद दूसरा सबसे छोटा राष्ट्रीय जलमार्ग -12 है जो कि सिर्फ 5.5 किमी लम्बा है और उत्तर प्रदेश से गुजरता है.

राष्ट्रीय जलमार्ग 2 कौन सा है?

1988 में धुबरी से सदिया तक 891 किमी. तक को राष्ट्रीय जलमार्ग संख्या-2 घोषित किया गया। धुबरी ब्रह्मपुत्र नदी पर पहला बड़ा टर्मिनल है।