होमवन ने कहा है कि गणित सभ्यता का प्रतिबिंब है। मानव
जाति की उन्नति तथा सभ्यता के विकास में गणित का विशेष योगदान रहा है।
इसमें गणित की प्रकृति अत्यधिक महत्वपूर्ण है। गणित घटनाओं का विज्ञान है। गणित विज्ञान विषयों का आधार है। गणित बच्चों में तार की दृष्टिकोण को पैदा करता है। इसका ज्ञान चरित्र निर्माण तथा नैतिकता के विकास में सहायक होता है। इसकी मदद से बच्चों में अनुशासन संबंधित गुण या विशेषता का विकास
होता है।। The study of mathematics is so easy that it is for snow real mental discipline. Mathematics is the queen of Science.
गणित की प्रकृतिगणित की प्रकृति कैसी है वो हम लोग निम्न बिंदुओ से समझ सकते हैं।
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गणित का अर्थ परिभाषाएँ प्रकृति, गणित का अध्ययन क्यों जरूरी हैगणित का अर्थ Meaning of Mathematics
गणित की महत्त्वपूर्ण परिभाषाएँ Some Important Definitions Of Mathsमार्शल, एच. स्टोन के मतानुसार
बर्ट्रेण्ड रसेल ने गणित को परिभाषित करते हुए लिखा है कि-
गैलीलियो महोदय ने गणित के महत्त्व को स्पष्ट करते हुए गणित को इस प्रकार परिभाषित किया है
लॉक के मतानुसार
उपरोक्त परिभाषाओं के आधार पर गणित के सम्बन्ध में हम कह सकते हैं कि
गणित की प्रकृति Nature of Mathematics
गणित की प्रकृति को निम्न बिन्दुओं द्वारा भली-भाँति समझा जा सकता है-
गणित की प्रकृति के सम्बन्ध में स्कॉटिश दार्शनिक हेमिल्टन (Hamilton) ने लिखा है। "The study of mathematics is so easy that it affords no real mental discipline." गणित और तार्किक सोच , गणितीय शिक्षण Logical Thinking and Maths
महान् शिक्षाशास्त्री प्लेटो के अनुसार गणितगणित के तार्किक मूल्य पर प्रकाश डालते हुए महान् शिक्षाशास्त्री प्लेटो ने स्पष्ट किया है कि "गणित एक ऐसा विषय है जो मानसिक शक्तियों को प्रशिक्षित करने का अवसर प्रदान करता है। एक सुषुप्त आत्मा (Sleeping Spirit) में चेतना एवं नवीन जागृति उत्पन्न करने का कौशल गणित ही प्रदान कर सकता है।”
गणित का अध्ययन क्यों जरूरी है
Also Read... गणित की प्रकृति क्या है?गणित की प्रकृति को निम्नलिखित बिंदुओं द्वारा भरी बातें समझा जा सकता है। गणित के ज्ञान का आधार हमारी ज्ञानेंद्रियां हैं। गणित में अमूर्त प्रत्यय को मूर्त रूप में परिवर्तित किया जाता है साथ ही उसकी व्याख्या भी की जाती है। गणित में संख्याएं, स्थान, दिशा तथा मापन या माप तौल का ज्ञान प्राप्त किया जाता है।
गणित की अमूर्त प्रकृति क्या है?गणित में अमूर्त प्रत्ययों की व्याख्या की जाती है व्याख्या के आधार पर उनमें विचार दृढ बनते है, और उन्हें मूल रूप में परिवर्तन किया जा सकता है जैसे ठोसों के आयतन ज्ञात करने के लिये जो सूत्र प्रयोग किये जाते है वह अमूर्त होते है, लेकिन सूत्रों का प्रयोग करने जब वह व्यावहारिक दृष्टि से ठोसों के आयतन की गणना करते है तो वे ...
गणित की निगमनात्मक प्रकृति क्या है?इसमें आगमनात्मक और निगमनात्मक तर्क शामिल हैं और सार्वभौमिक रूप से किसी भी प्रस्ताव को सामान्य किया जा सकता है। गणित शिक्षणशास्त्र इसका ज्ञान पूरे ब्रह्मांड में हर जगह और हर समय एक जैसा रहता है। यह एक सटीक विज्ञान है। इसका ज्ञान हमेशा स्पष्ट, तार्किक और व्यवस्थित होता है और इसे आसानी से समझा जा सकता है।
गणित का अर्थ क्या है?गणित ऐसी विद्याओं का समूह है जो संख्याओं, मात्राओं, परिमाणों, रूपों और उनके आपसी रिश्तों, गुण, स्वभाव इत्यादि का अध्ययन करती हैं। गणित एक अमूर्त या निराकार (abstract) और निगमनात्मक प्रणाली है। गणित की कई शाखाएँ हैं : अंकगणित, रेखागणित, त्रिकोणमिति, सांख्यिकी, बीजगणित, कलन, इत्यादि।
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