महीने का ब्याज कैसे निकाले सूत्र? - maheene ka byaaj kaise nikaale sootr?

Byaj Kaise Nikale? क्या आप जानना चाहते है ब्याज कैसे निकाले तो हमारे इस पोस्ट को जरुर पढ़े. इस पोस्ट में हम ब्याज निकालने का फार्मूला जानेंगे. अगर कोई ब्याज निकालना चाहता है तो इस पोस्ट में बताये गये फार्मूला से निकाल सकता है. ब्याज निकालना बहुत ही आसान होता है इसके लिए बस आपको एक फार्मूला याद होना चाहिए. अगर आपको एक बार पता चल गया की ब्याज कैसे निकाले उसके बाद आप किसी भी तरह के लोन, निवेश या बैंक का ब्याज निकाल सकते हो. तो दोस्तों चलिए जानते है Byaj Kaise Nikale, Byaj Ka Formula ब्याज कैसे निकाला जाता है ब्याज निकालने का तरीका पूरी जानकारी हिंदी में.

महीने का ब्याज कैसे निकाले सूत्र? - maheene ka byaaj kaise nikaale sootr?

Byaj Kaise Nikale? ब्याज का फार्मूला:

हम अब ब्याज की जानकारी हासिल करने जा रहे है. हम सीधा ब्याज निकालने का तरीका नहीं जानेंगे उससे पहले हम ब्याज की पूरी जानकारी हासिल करेंगे ताकि आपके मन में कोई सवाल न हो.

Byaj Kya Hai:

ब्याज निकालने से पहले हमारा यह जानना जरुरी है की ब्याज क्या है? ब्याज उसे कहते है जब हम किसी से कर्ज लेते है और वह मूलधन के साथ हमसे एक्स्ट्रा पैसे की मांग करता है उसी एक्स्ट्रा रकम को ब्याज नाम दिया गया है. इसे अच्छे से समझने के लिए आपको समझना होगा मूलधन क्या है? मूलधन उस रकम को कहते है जो आपने कर्ज लिया ही, या फिर कर्ज दिया है या फिर किसी बैंक में निवेश किया है. जब आप किसी को मूलधन देते हो तो उनसे आप मूलधन चुकाने के साथ ब्याज देने की भी मांग कर सकते हो.

ब्याज अधिकतर वार्षिक होता है उदहारण के लिए बैंक जो हमें ब्याज देते है वह साल में एक बार देते है. लेकिन अगर आप किसी व्यक्ति को अपने तरफ से उधार देते हो या फिर कोई व्यक्ति आपको उधार देता है तो ऐसे में ब्याज हर महीने या हफ्ते के हिसाब से भी हो सकता है. ब्याज हमेशा मूलधन पर लगाया जाता है उदहारण के लिए अगर आपने किसी से Rs 10,000 का उधार लिया तो ब्याज हमेशा मूलधन अमाउंट पर कुछ परसेंटेज लगाकर ही वापास किया जायेगा. अगर किसी से आपने Rs 10,000 उधार लिया और आपका सालाना ब्याज दर 10% होगा तो आपको एक साल बाद Rs 10,000 के साथ Rs 1000 ज्यादा देना होगा.

ब्याज कितना होगा यह ज्यादातर मूलधन देने वाले व्यक्ति पर निर्भर करता है लेकिन बैंक अपने रेट के अनुसार आपको ब्याज देती है. अगर किसी को पैसो की बहुत जरुरत है तो आप अपने पैसे उन्हें कर्ज में देने के साथ ब्याज भी वसूल सकते हो यह भी एक तरह का बिज़नस होता है. बैंक भी लोगो को पैसे जमा करने पर ब्याज देती है और उन्हीं पैसो को बैंक किसी दुसरे जरूरतमंद को उधार देती है और उनसे ब्याज वसूलती है. इसी प्रकार बैंक का पूरा फायदा और नुकसान ब्याज पर ही निर्भर करता है.

Byaj Ka Formula:

ब्याज निकालने का फार्मूला
I=Prt
I= यह ब्याज को दर्शाता है.
P= इसे प्रिंसिपल अमाउंट बोला जाता है जिसे हिंदी में हम मूलधन कहते है.
r= कितने परसेंटेज ब्याज दर है उसे दर्शाता है (डेसीमल में लिखा जायेगा).
t= कितने समय में पैसे चुकाना है वह दर्शाता है.

Byaj Nikalne Ka Tarika:

अब तक हम यह जान चुके है ब्याज क्या है? ब्याज निकालने का फार्मूला भी ऊपर हम पढ़ चुके है. लेकिन जब तक हमें यह पता नहीं होगा की ब्याज निकालने का तरीका क्या है तो फार्मूला जानने का भी कोई फायदा नहीं. इसीलिए अब हम ब्याज कैसे निकाला जाता है उसका तरीका उदहारण सहित जानेंगे इससे आपको ब्याज समझने में ज्यादा आसानी होगी.

उदहारण 1: एक बैंक आपको Rs 50,000 , 6% सालाना ब्याज दर पर देता है. अब 5 साल बाद आपको कितने पैसे बैंक को चुकाने होंगे चलिए जानते है.

I=Prt
I= हमें ब्याज निकालना है.
P= मूलधन Rs 50,000 है.
r= ब्याज दर 6% को हम डेसीमल में 0.06% लिखेंगे (डेसीमल में बदलने के लिए ब्याज दर को हमेशा 100 से भाग देना होता है. इस उदहारण में ब्याज दर 6% था इसलिए हमने 6/100 करके 0.06% लिखा है).
t= हम 5 साल का ब्याज निकाल रहे है.

I= 50,000 x 0.06 x 5
I= Rs 15,000

Total Amount: Rs 50,000 + Rs 15,000 = Rs 65,000

इस हिसाब से अगर कोई बैंक आपको Rs 50,000 उधार, 6% सालाना ब्याज दर पर देता है तो 5 साल बाद आपका ब्याज Rs 15,000 होगा. अब आपको मूलधन के साथ ब्याज भी देना होगा तो कुल रकम Rs 65,000 चुकाना होगा.

उदहारण 2: अगर आपका दोस्त आपको Rs 10,000 उधार देता है, हर महीने 4% ब्याज दर देने की मांग करता है. अब 6 महीने बाद आपको कितने पैसे अपने दोस्त को देने होंगे चलिए जानते है.

I=Prt
I= हमें ब्याज निकालना है.
P= मूलधन Rs 10,000 है.
r= ब्याज दर 4% को हम डेसीमल में 0.04% लिखेंगे (डेसीमल में बदलने के लिए ब्याज दर को हमेशा 100 से भाग देना होता है. इस उदहारण में ब्याज दर 4% था इसलिए हमने 4/100 करके 0.04% लिखा है).
t= हम 6 महीने का ब्याज निकाल रहे है.

I= 10,000 x 0.04 x 6
I= Rs 2,400

Total Amount: Rs 10,000 + Rs Rs 2,400 = Rs 12,400

इस हिसाब से अगर आपका दोस्त आपको Rs 10,000 उधार, 4% ब्याज दर हर महीने लेता है तो 6 महीने बाद आपका ब्याज Rs 2,400 होगा. अब आपको मूलधन के साथ ब्याज भी देना होगा तो कुल रकम Rs 12,400 चुकाना होगा.

Final Words:

तो दोस्तों आज हमने इस पोस्ट में बहुत कुछ सीखा Byaj Kya Hai, Byaj Kaise Nikale, Byaj Ka Formula, Byaj Nikalne Ka Tarika पूरी जानकारी हिंदी में. मैं उम्मीद करता हूँ इस पोस्ट को पढ़ने के बाद आपको पता चल गया होगा ब्याज कैसे निकाला जाता है. अगर अभी भी आपके मन में कोई सवाल हो तो कमेंट में हमसे पूछ सकते हो. आपको हमारा पोस्ट पसंद आया हो तो शेयर जरुर करे इससे हम आगे आपके लिए और भी पोस्ट लिखते रहेंगे.

महीने का ब्याज कैसे निकालते हैं?

ब्याज का गणित.
P = मूलधन (प्रारम्भ में लिया/दिया/जमा किया गया धन).
r = ब्याज की वार्षिक दर (दस प्रतिशत ब्याज दर के लिये r=०.१०).
n = एक वर्ष में कुल ब्याज-चक्रों की संख्या.
t = कुल समय (वर्ष में).
A = t समय बाद मिश्रधन.

6 महीने का ब्याज कैसे निकाले?

मान लीजिए आपने किसी बैंक में लोन के लिए अप्लाई किया हुआ है और बैंक की ब्याज दर 8.35 फीसदी (8.35 %) है तो अगर आपका स्कोर 760 प्वाइंट्स से ऊपर है, तो 8.35 फीसदी (8.35 %)की ब्याज दर पर आपको लोन मिलेगा।

कैलकुलेटर से ब्याज कैसे निकाला जाता है?

साधारण ब्याज ऋण या बैंक जमा की वास्तविक मूल राशि पर आधारित होता है। इसका मतलब यह है कि उधारकर्ता को अर्जित ब्याज पर कभी भी ब्याज का भुगतान नहीं करना पड़ता है। साधारण ब्याज चक्रवृद्धि के कारकों को ध्यान में नहीं रखता है।

ब्याज गणना का सूत्र क्या है?

बैंक ए के लिए प्रभावी ब्याज दर सूत्र होगा: (1 + 0.11/2) ^ 2 – 1, या 11.30%। इस प्रभावी ब्याज दर के सूत्र को प्रभावी वार्षिक ब्याज दर के सूत्र में परिवर्तित किया जा सकता है, चर “n” को फिक्स करके, एक वर्ष या एक समय अवधि के मूल्य पर।