इतिहास लेखन का कौन सा सिद्धांत इतिहास लिखने के लिए उपयुक्त है? - itihaas lekhan ka kaun sa siddhaant itihaas likhane ke lie upayukt hai?

विषयसूची

  • 1 ऐतिहासिक शोध प्रविधि क्या है?
  • 2 ऐतिहासिकता से आप क्या समझते हैं?
  • 3 ऐतिहासिक खोज विधि के जन्मदाता कौन हैं?
  • 4 ऐतिहासिक शोध में विश्वसनीयता और वैधता का क्या अर्थ है?
  • 5 तुलनात्मक अध्ययन क्या है?
  • 6 इतिहास लेखन के लिए शोध क्यों आवश्यक है?
  • 7 इतिहास लेखन से आप क्या समझते हैं?
  • 8 शोध समस्या से आप क्या समझते हैं?

ऐतिहासिक शोध प्रविधि क्या है?

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक विधि या ऐतिहासिक शोध एक शोध प्रक्रिया है जिसका उपयोग अतीत में घटित होने वाली घटनाओं और उसके बाद के विचारों या इतिहास के बारे में सिद्धांतों के सबूत जुटाने के लिए किया जाता है।. इतिहास का अध्ययन केवल नामों, तिथियों और स्थानों को याद करने की तुलना में अधिक जटिल है।

ऐतिहासिकता से आप क्या समझते हैं?

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक अनुसन्धान में ऐतिहासिक समस्याओं का वैज्ञानिक विश्लेषण किया जाता है। इस अनुसन्धान का मूल उद्देश्य अतीत के आधार पर वर्तमान को समझना तथा तदनुसार भविष्य को बनाना होता है। ऐतिहासिक अनुसन्धान में ऐतिहासिक साक्ष्यों की आवश्यकता पड़ती है, जो मुख्यतः दो प्रकार के होते हैं – प्राथमिक स्रोत एवं गौण स्रोत।

शोध का क्या अर्थ है ऐतिहासिक स्रोत के प्रकारों का वर्णन करें?

इसे सुनेंरोकेंइस प्रकार के षोध में व्यक्तियों की जीवनक्रिया कलाप। करलिंगर (1973) ने ऐतिहासिक अनुसंधान को समझते हुए कहा कि ऐतिहासिक अनुसंधान अतीत की घटनाओं तथा विकास क्रमों की समालोचनात्मक खोज, अतीत से सम्बन्धित सूचना के स्रोतों की वैधता का प्रमाण का सावधानी पूर्ण मापन तथा मापित प्रमाण का विवेचन है।

ऐतिहासिक पद्धति के समर्थक कौन है?

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक पद्धति का महत्व_ अतीत में घटित हुई घटनाओं का अध्ययन करने के लिए ऐतिहासिक पद्धति की उपयोगिता एवं महत्व निर्विवाद (बिना विवाद का) है। एम. एच. गोपाल ने लिखा है— “यदि कोई भी सामाजिक अनुसंधान कर्ता जो वर्तमान का विश्लेषण करते समय अतीत की उपेक्षा करता है, बहुत बड़ी जोखिम उठाता है।”

ऐतिहासिक खोज विधि के जन्मदाता कौन हैं?

आधुनिक मनोविज्ञान के जनक माने जाते हैं – विलियम जेम्स किंडरगार्टन विधि के प्रतिपादक है – फ्रोबेल संख्यात्मक आंदोलन के जनक है – अल्बर्ट बंडूरा…शिक्षण विधियाँ एवं उनके प्रतिपादक :

क्रशिक्षण विधियांप्रतिपादक
1. किंडर गार्डन फ्रोबेल
2. मांटेसरी विधि मारिया मांटेसरी
3. खेल विधि के हेनरी कोल्डवेल कुक
4. डाल्टन विधि हेलन पार्कहर्स्ट

ऐतिहासिक शोध में विश्वसनीयता और वैधता का क्या अर्थ है?

इसे सुनेंरोकेंवैधता का तात्पर्य यह है कि अनुसंधान उपकरण किस सीमा तक मापता है, इसे मापने का इरादा क्या है। विश्वसनीयता उस पैमाने को संदर्भित करती है जिस पैमाने पर लगातार परिणाम उत्पन्न होते हैं, जब दोहराया माप किए जाते हैं।

ऐतिहासिक अनुसंधान क्या है ऐतिहासिक अनुसंधान के चरण बताइए?

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक अनुसंधान के पद परिकल्पना या परिकल्पनाओं का निर्माण। तथ्यों का संग्रह और संग्रहित तथ्यों की प्रामाणिकता की जाँच। तथ्य विष्लेशण के आधार पर परिकल्पनाओं की जाँच। परिणामों की व्याख्या और विवेचना।

अनुसन्धान का क्या अर्थ है?

इसे सुनेंरोकेंव्यापक अर्थ में अनुसन्धान (Research) किसी भी क्षेत्र में ‘ज्ञान की खोज करना’ या ‘विधिवत गवेषणा’ करना होता है। नवीन वस्तुओं की खोज और पुरानी वस्तुओं एवं सिद्धान्तों का पुनः परीक्षण करना, जिससे कि नए तथ्य प्राप्त हो सकें, उसे शोध कहते हैं।

तुलनात्मक अध्ययन क्या है?

इसे सुनेंरोकेंतुलनात्मक अध्ययन के अंतर्गत किन्हीं दो समकालीन या विषमकालीन समान गुणात्मक प्रतीत होनेवाली कृतियों का अध्ययन किया जाता है। यह अध्ययन दो युगों, दो भाषाओं एवं दो व्यक्तियों का हो सकता है। यह अध्ययन गंभीर, वैज्ञानिक, तटस्थ, सांगोपांग एवं निष्कर्षमूलक होना चाहिए।

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक अनुसन्धान का उद्देश्य अतीत, वर्तमान और भविष्य के सम्बन्ध स्थापित कर वैज्ञानिकों की जिज्ञासा को शान्त करना है। ऐतिहासिक अनुसन्धान का उद्देश्य अतीत के परिपेक्ष्य में वर्तमान घटनाक्रमों का अध्ययन कर भविष्य में इनकी सार्थकता को ज्ञात करना है। 2. परिकल्पना या परिकल्पनाओं का निर्माण।

इतिहास लेखन के लिए शोध क्यों आवश्यक है?

इसे सुनेंरोकेंअंत में, शोध एक छात्र द्वारा किया जा सकता है क्योंकि वह बौद्धिक रूप से किसी समस्या में शामिल है और इस मुद्दे पर गहराई से ध्यान केंद्रित करना चाहता है। इस प्रकार के विद्वान विषय में महत्वपूर्ण योगदान देने में सक्षम हैं।

ऐतिहासिक अवलोकन क्या है?

इसे सुनेंरोकेंइतिहास में केवल ‘क्या था’ का ही अध्ययन नहीं किया जाता है बल्कि यह भी किया जाता है कि ‘क्यों और कैसे घटित हुआ’। इतिहास के द्वारा समाज की सामाजिक सांस्कृतिक आर्थिक एवं राजनीतिक घटनाओं का क्रमिक एवं व्यवस्थित अध्ययन करके हम सामाजिक जीवन की निरंतरता एवं सम्मानीय धारा को समझ सकते हैं।

इतिहास लेखन का कौन सा सिद्धांत इतिहास लिखने के लिए उपयुक्त है?

इसे सुनेंरोकेंइतिहास लेखन खोज और निर्माण का कार्य है। हैं। इतिहास का व्यवहार दो धाराओं में बंट जाता है-एक प्रत्यक्षवादी जो इतिहास को विज्ञान के नमूने पर खड़ा करना चाहते थे और दूसरे आदर्शवादी जो इसे एक कला मानते थे। हैं लेकिन यह निश्चित नहीं है कि इतिहासकार को इनमें से किसी उद्देश्य में सफलता मिलती है।

इतिहास लेखन से आप क्या समझते हैं?

इसे सुनेंरोकेंइतिहास लेखन या इतिहास-शास्त्र (Historiography) से दो चीजों का बोध होता है- (१) इतिहास के विकास एवं क्रियापद्धति का अध्यन तथा (२) किसी विषय के इतिहास से सम्बन्धित एकत्रित सामग्री। इतिहासकार इतिहासशास्त्र का अध्ययन विषयवार करते हैं, जैसे- भारत का इतिहास, जापानी साम्राज्य का इतिहास आदि। .

शोध समस्या से आप क्या समझते हैं?

इसे सुनेंरोकेंशोध समस्या से तात्पर्य एक ऐसे प्रश्नवाचक कथन या समस्या कथन से होता है जिसमें चरों के बीच कोई विशेष प्रकार के संबंध होने की कल्पना की जाती है। लिए स्वयं के शैक्षणिक क्षेत्र या व्यवसायिक क्षेत्र से उप विषय का चयन करना चाहिए। बारे में भी पता चलता है।

ऐतिहासिक विधि का क्या तात्पर्य है इसके विभिन्न स्रोतों की चर्चा करें?

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक विधि का उद्देश्य— उन विशिष्ट दशाओं या कारकों का विवरण प्रस्तुत करना है जिनका किसी घटना के उद्गम विकास या परिवर्तन से कोई संबंध रहा है। दूसरे अर्थों में अतीत की सहायता से वर्तमान को समझना ऐतिहासिक विधि का मूल मंत्र है।

ऐतिहासिक विधि का क्या तात्पर्य है?

इसे सुनेंरोकेंऐतिहासिक विधि (Historical method) उन तकनीकों और दिशानिर्देशों का समुच्चय है जिनका उपयोग इतिहासकार अतीत के इतिहास के अनुसन्धान तथा लेखन के लिए करते हैं। इसके लिए प्राथमिक स्रोतों और पुरातत्व सहित अन्य साक्ष्यों का उपयोग किया जाता है।

इतिहास के प्रमुख सिद्धांत क्या है?

इतिहास को उत्पादन संबंधों के पाँच मुख्य प्रकार ज्ञात हैं–आदिम जातिवादी, दासप्रधान, सामंती, पूँजीवादी और समाजवादी। इन व्यवस्थाओं के विचार और प्रकार, यथा पूँजीवाद में मुनाफा, मजदूरी और लगान, शाश्वत नहीं बल्कि उत्पादन के सामाजिक संबंधों की सैद्धांतिक अभिव्यक्ति मात्र हैं।

इतिहास लेखन के सबसे विकसित पद्धति क्या है?

विधेयवादी पद्धति साहित्य इतिहास लेखन की सर्वाधिक उपर्युक्त विधि । इस विधि के जन्मदाता ” तेन ” Taine माने जाते है । इस पद्धति में साहित्येतिहास प्रवृतियों का अध्ययन युगीन परिस्थितियों के संदर्भ में किया जाता है । इसी कारण उनके इतिहास ग्रन्थ को सच्चे अर्थो में हिदी साहित्य का प्रथम इतिहास ग्रन्थ कहा जाता है ।

इतिहास लेखन के विभिन्न विचारधारा कौन सी है?

हाल के दशकों में इतिहास लेखन के चार मुख्य स्कूलों दर्ज किए गए हैं- कैम्ब्रिज, राष्ट्रवादी, मार्क्सवादी, और सबॉल्टर्न।

इतिहास के लेखन में किसका महत्वपूर्ण स्थान है?

इतिहास अतीत की घटनाओं की व्याख्या करता है, अतः यह इतिहासकार का दायित्व होता है कि वह इतिहास की प्रकृति को ध्यान में रखे । प्रारम्भ में इतिहास लेखन के समय मात्र अतीत लेखन को ही महत्त्वपूर्ण समझा जाता था परन्तु समय के साथ - साथ इतिहास का अध्ययन करते समय वैज्ञानिक पद्धति को प्राथमिकता दी जाने लगी ।